- रक्तदान कर लोगों की बचाई जा सकती है जिंदगियां: सिविल सर्जन
रोहतास पत्रिका/सासाराम: विश्व रक्तदाता दिवस के अवसर पर मंगलवार को सासाराम सदर अस्पताल के ब्लड बैंक के साथ साथ बेदा स्थित महिला पुलिस लाइन में रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। सासाराम सदर अस्पताल में रक्तदान शिविर का उद्घाटन रोहतास सिविल सर्जन डॉ अखिलेश कुमार ने फीता काटकर किया।
वहीं रक्तदान शिविर में रक्त दान करने पहुंचे युवाओं को सिविल सर्जन ने माला पहनाकर उनका स्वागत किया और रक्तदान के प्रति युवाओं की सहभागिता को देखते हुए काफी प्रभावित हुए और उन्होंने युवाओं का हौसला बढ़ाया। सिविल सर्जन ने कहा कि रक्तदान हमें अवश्य करना चाहिए, क्योंकि रक्तदान करने से कई लोगों की जिंदगी बचाई जा सकती है।
उन्होंने कहा कि रक्त बनाए नहीं जाते हैं बल्कि एक दूसरे के सहयोग से ही रक्त को किसी जरूरतमंद व्यक्ति को उपलब्ध कराया जा सकता है इसलिए जब भी मौका मिले तो रक्तदान जरूर करवाएं। सिविल सर्जन ने बताया कि अट्ठारह से 65 वर्ष के स्वस्थ व्यक्ति अपना रक्तदान करा सकते हैं। उद्घाटन अवसर पर सिविल सर्जन डॉक्टर अखिलेश कुमार के अलावा एसीएमओ डॉ अशोक कुमार, एनसीडीओ डॉक्टर के एन तिवारी, डीपीसी संजीव मधुकर, सासाराम सदर अस्पताल के उपाधीक्षक श्री भगवान सिंह, ब्लड बैंक की एम ओ डॉक्टर संध्या कुमारी के अलावा अन्य स्वास्थ्य कर्मी उपस्थित रहे।
पहली बार रक्तदान कर रहे युवाओं में उत्साह
14 जून मंगलवार को विश्व रक्तदाता दिवस मनाया गया। इस अवसर पर सासाराम सदर अस्पताल स्थित ब्लड बैंक में रक्तदान शिविर का भी आयोजन किया गया। रक्तदान शिविर को लेकर युवाओं में उत्साह देखा गया और युवा स्वेक्षा से रक्तदान करने के लिए रक्तदान केंद्र पर पहुंच कर रक्तदान किया। साथ ही रक्तदान को लेकर लोगों के मन में फैले भ्रम को भी युवाओं ने दूर करते हुए रक्तदान करने के लिए प्रेरित किया। रक्तदान शिविर में कुछ ऐसे भी रक्तदाता मौजूद थे जिन्होंने पहली बार रक्तदान करते हुए लोगो के मन मे रक्तदान को लेकर बैठे डर को दूर किया।
• सासाराम के चौखंडी निवासी 26 वर्षीय मो. नेहाल विश्व रक्तदाता दिवस पर पहली बार रक्तदान करने पहुँचे। उन्हीने बताया कि रक्तदान को लेकर वो काफी उत्साहित हैं। रक्तादान करने का मुख्य मकसद लोगों की जिंदगी को बचाना है। उन्होंने इसके लिए अन्य लोगों को भी आगे आने के लिए अपील किया।
• सासाराम के गौरक्षणी निवासी 25 वर्षीय अभिषेक आनंद ने भी विश्व रक्तदाता सिवस के अवसर पर पहली बार अपना रक्तदान किया। उन्होंने कहा कि रक्त देने में डर लगता था परन्तु कुछ दोस्तों ने बताया कि डरने की कोई बात नही हैं। उनके कई दोस्त अक्सर रक्त दान करते है इसलिए उन्होंने भी रक्तदान करने के लिए सोच और रक्तदान करने पहुचे है।